शहरों या राज्यों का नाम बदलने की कानूनी प्रक्रिया

गर आप सोच रहे हैं कि किसी भी शहर का नाम बदलने के ऐलान के साथ ही उस का नाम बदल जाता है तो आप गलत हैं। किसी भी शहर का नाम बदलने के लिए एक प्रक्रिया का पालन किया जाता है। बिना यह …

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क्या राजद्रोह कानूनों को खत्म कर देना चाहिये?

सुप्रीम कोर्ट में एक बार फिर से राजद्रोह कानून की संवैधानिक वैधता को लेकर सुनवाई होनी है। चीफ जस्टिस एन.वी. रमणा, जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस हिमा कोहली की बेंच इस पर सुनवाई करेगी। राजद्रोह कानून को लेकर पिछले साल जुलाई में भी सुप्रीम कोर्ट …

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क्या हैं भारत में जारी राजद्रोह कानूनों का इतिहास?

लोकतंत्र सही मायनों में लोकतंत्र तभी माना जाता है, जब सरकार के प्रति व्यक्त असहमति और आलोचना का भी तहेदिल से स्वागत किया जाए। कबीरदास ने कहा है “निंदक नियरे राखिये, आँगन कुटी छवाय” अर्थात खुद की निंदा करने वालों को अपने पास ही …

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हिजाब के विरोध में अधिकार की लड़ाई लड़ती मुस्लिम लड़कियां

भारत में मुस्लिम लड़कियों और महिलाओं को अपने पहनावे और बदल रहे भारत में अपने धार्मिक अधिकार को पाने के लिए खुद आगे आना होगा। अपनी लड़ाई खुद लड़नी होगी।

ऐसा देखा गया है कि वह सोशल मीडिया समेत हर जगह मुस्लिम आईडी और …

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लोगों पर शाकाहार थोपना सांप्रदायिक घृणा फैलाने का हथियार

हाल ही (दिसंबर, 2021) में अहमदाबाद नगर निगम की नगर नियोजन समिति ने घोषणा की कि शहर में सार्वजनिक सड़कों और स्कूल, कालेज और धार्मिक स्थलों के 100 मीटर के दायरे में मांसाहारी खाद्य पदार्थ बेचने वाले स्टाल नहीं लगने दिए जाएंगे।

इसी तरह …

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धमकियों के बाद मुनव्वर फारूकी का कॉमेडी छोड़ना दुखद

स्टैंडअप कॉमेडियन मुनव्वर फारूकी बेंगलुरू में एक परोपकारी संस्था के लिए अपना शो करने वाले थे। पूरे टिकट बिक चुके थे। फिर आयोजकों को यह सूचना दी गई कि उन्हें कार्यक्रम रद्द करना होगा और कार्यक्रम रद्द हुआ। पुलिस ने इसका कारण यह बताया …

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सलमान खुर्शीद के घर आगजनी, सांप्रदायिक असहिष्णुता का नमूना

पूर्व केंद्रीय मंत्री सलमान खुर्शीद, कांग्रेस के एक प्रमुख नेता और उच्चतम न्यायालय के जानेमाने वकील है। हाल में उनकी एक किताब प्रकाशित हुई है, जिसका शीर्षक है- ‘सनराइज ओवर अयोध्या: नेशनहुड इन प्रेजेंट टाइम्स।’

पुस्तक की प्रचार सामग्री में उसके एक उद्धरण का …

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त्रिपुरा सांप्रदायिक हिंसा पर सत्ता और समाज मूकदर्शक क्यों हैं?

मारे देश में धार्मिक अल्पसंख्यकों के खिलाफ हिंसा बहुत आम हो गई है। जहां एक ओर प्रधानमंत्री पोप से गले मिल रहे हैं, तो वहीं दूसरी ओर देश में ईसाइयों के खिलाफ हिंसा की छोटी-छोटी घटनाएं हो रहीं हैं। एक समुदाय के रूप में

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चरमपंथ ‘वैश्विक राजनैतिक एजेंडा’ कैसे बना?

बीस साल पहले 9/11, 2001 की दिल को हिला देने वाली त्रासदी, जिसमें करीब 3,000 निर्दोष लोग मारे गए थे। इसके बाद अमरीकी मीडिया ने एक नया शब्द गढ़ा, ‘इस्लामिक चरमपंथ’। यह पहली बार था जब चरमपंथ और आतंकवादियों को किसी धर्म से जोड़ा

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अफ़ग़ान-अमेरिका निरर्थक जंग के अनसुलझे सवाल

गर अफ़ग़ानी सैनिक नहीं लड़ते तो मैं कितनी पीढ़ियों तक अमेरिकी बेटे-बेटियों को भेजता रहूं। मेरा जवाब साफ है। मैं वो गलतियां नहीं दोहराऊंगा जो हम पहले कर चुके हैं।  .. क्या हुआ है? अफगानिस्तान के राजनीतिक नेताओं ने हाथ खड़े कर

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